सारंगढ़: “जाति-पाति पूछे न कोई,
हरि को भजै सो हरि का होई” का संदेश पूरे देश में देने वाले जाति- पाति , छुआछूत से बढ़कर सभी को भक्ति मार्ग दिखाने वाले आदि जगतगुरु श्री रामानन्दाचार्य जी की जयंति 02 फ़रवरी को पूरे भारतवर्ष में मनाया जाएगा।
विदित हो स्वामी रामानंद ने हिंदू धर्म को संगठित और व्यवस्थित करने के अथक प्रयास किए। उन्होंने वैष्णव सम्प्रदाय को पुनर्गठित किया तथा वैष्णव साधुओं को उनका आत्मसम्मान दिलाया। रामानंद वैष्णव भक्तिधारा के महान संत हैं। सोचें जिनके शिष्य संत कबीर और रविदास जैसे संत रहे हों तो वे कितने महान रहे होंगे। इसलिए प्रत्येक वर्ष माघ माह की सप्तमी तिथि को पुरा भारतवर्ष रामानन्दाचार्य जयंति मनाता है।
खम्हारडीह में आएंगे राष्ट्रीय महासचिव –
सारंगढ़ बिलाईगढ़ जिले के ग्राम खन्हारडीह में वैष्णव समाज द्वारा मनाया जाएगा। जिसमें वैष्णव के शिरोमणी राष्ट्रीय महासचिव श्री लखन दास वैष्णव जी का आगमन भी होना तय है, जिनके स्वागत के लिए सारंगढ़, कोसीर,सरिया, बरमकेला, बिलाईगढ़ के वैष्णव पदाधिकारियों का आगमन सारंगढ़ के खम्हारडीह में होगा, श्री रामानन्दाचार्य जयंति को लेकर पूरे जिले के वैष्णव बंधुओं में हर्ष का माहौल व्याप्त है।